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BEST EMOTIONAL LOVE STORY IN HINDI – दिल को भावुक कर देने वाली एक प्रेम कथा

दोस्तों आज में आपको बहुत प्यारी सी एक इमोशनल लव लव स्टोरी सुनाने जा रहा हूँ यह स्टोरी दो अलग अलग गांव में रहने वाले प्रेमियों की हैं। जो की एक दूसरे से बहुत प्यार करते हैं पर उनके इस प्रेम के बारे में इनके घर वालों को जरा भी खबर नहीं होती हैं। तो क्या इनके प्यार की खबर इनके घर वालों को पता चलरी हैं ? और पता चलती भी हैं तो क्या उनके घर वाले राज़ी होते हैं या नहीं या फिर वह हमेशा के लिए बिछड़ जातें हैं ये तो आपको स्टोरी पढ़कर ही पता चलेगा। तो बिना समय जाया करते हुए आप हमारी इस Emotional Love Story in Hindi को पढ़िए उम्मीद करूँगा की आपको यह स्टोरी पसंद आएगी।

यह प्रेम कहानी एक छोटे से गांव में रहने वाले एक लड़के की हैं जो की अपने नजतिक के गांव में रहने वाली एक लड़की से महोब्बत करता था। वह दोनों एक दूसरे को बहुत पसंद करते थे पर उन्हें पता था की उनके इस रिश्ते को उनके घर वाले कभी भी नहीं स्वीकारेंगे। लड़के का नाम अभिषेक था और लड़की नाम माधुरी। अभिषेक एक छोटे से किसान का बेटा था और माधुरी एक बड़े जमींदार कि बेटी थी दोनों कि हैसियत में काफी समानताएँ थी पर वो कहते हैना कि प्यार कभी हैसियत देख के नहीं किया जाता। अभिषेक हर रोज शाम 6 बजे माधुरी से मिलने चोरी छुपे उसके गांव जाया करता था वहा वह तलाब के किनारे बैठकर अपनी शादी के सपने को सच करने की बातें करते रहते थे।

चोरी छुपे मिलना उनकी मजबूरी हुआ करती थी क्योंकि गांव में अक्सर ऐसे रिश्तों पर हमेशा सवाल खड़े उठते हैं और गांव के लोगो की हमेशा से यही चाहते हैं की उनके बच्चों का विवाह उनकी जात बिरादरी के अंदर ही हो ना की उससे बाहर। और अभिषेक और माधुरी की बिरादरी भी अलग-अलग थी इसलिए उन्हें इस बात का भी डर भी सताता रहता था।

यूही रोज-रोज अभिषेक का घर से एक ही समय पर निकलना और पास के गांव में जाना उसके पिताजी को थोड़ा अजीब सा लग रहा था की यह रोज इसी समय पर रोज क्या करने जाता हैं। तो एक दिन अपने शक को दूर करने के लिए उसके पिता ने उसका पीछा करने की सोची और उसके पिता ने उसके अगले दिन ही अभिषेक का पीछा किया जब अभिषेक दूसरे गांव पंहुचा तो उसके पिता ने देखा की वह तो तुलंग गांव के जमींदार कि बेटी माधुरी से मिल रहा हैं और उसके साथ गले लग रहा था। यह सब देख उसके पिताजी को काफी शर्मिंदगी महसूस हुई और वह वह से चले गए।

जैसे ही थोड़े समय बाद जब अभिषेक घर पंहुचा तो उसके पिता ने उससे पूछा कि आज तुम तुलंग गांव में क्या कर रहे थे तो अभिषेक ने बोला कुछ नहीं पिताजी में बस अपने दोस्त से मिलने गया था, उसके मुँह से झूट सुनते ही उसके पिता गुस्से में आकर उसको एक तमाचा लगाया और कहा कि दोस्त से मिलने गए थे या अय्याशी करने गए थे मैंने तुम्हे आज तुलंग गांव के जमींदार कि बेटी के साथ देखा था क्या कर रहे थे तुम उसके साथ तुम्हे जरा भी शर्म नहीं आयी कि अपने माँ-बाप का नाम तुम इस कदर डूबा रहे हो। वो तो शुक्र मनाओ कि मेने आज तुम्हे देख लिया अगर गांव का कोई और व्यक्ति देख लेता तो बदनामी तो होती अलग और उस लड़की के भाई तुम्हारे हाथ-पैर तोड़ते वो अलग।

अभिषेक अपनी कि गयी गलती पर शर्मिंदा होता हैं और अपने पिता से कहता हैं कि मुझे माफ़ कर दिजिये मेरे से बहुत बड़ी गलती हो गयी मुझे आपको यह बात पहले ही बता देनी चाहिए थी कि मे माधुरी से बहुत प्यार करता हु और में उसके बिना एक पल भी नहीं जी सकता। यह सुनते ही उसके पिता उससे कहते हैं कि बेटा देखों ये बात तुम्हे भी पता हैं कि वो हमसे हैसियत में कितने बड़े हैं और वो तुम्हारे इस रिश्ते को कभी नहीं स्वीकारेंगे इसलिए बेहतर यही होगा कि तुम्हे उसे भूल जाओ अपने पिता कि बात सुनकर अभिषेक काफी मायुश हो जाता हैं और पूरी तरह से टूट जाता हैं।

काफी दिन बीत जातें हैं अभिषेक और माधुरी एक दूसरे से नहीं मिले होते हैं, माधुरी काफी परेशान होती हैं की कुछ दिनों से अभिषेक उससे मिलने क्यों नहीं आ रहा हैं, कुछ दिन और बीत जाने के बाद माधुरी को और टेंशन होने लगती हैं इसलिए बात की जड़ तक पहुंचने के लिए वह अभिषेक के गांव की तरफ अभिषेक से मिलने के लिए निकल लेती हैं। जब वह रास्ते में चल हो रही है तो अचानक उसकी टक्कर एक लड़के से हो जाती हैं और वो लड़का कोई और नहीं अभिषेक ही होता हैं वह उसको देखते ही उसके गले लग जाती हैं और रो-रो कर उसका बुरा हाल हो जाता हैं और वह उससे कहती हैं की तुम मुझसे इतने दिनों से मिलने क्यों नहीं आ रहे थे पता हैं में कितना परेशान हो रही थी की कही तुम्हे कुछ हो तो नहीं गया पर शुक्र हैं की तुम ठीक हो।

इतने में अभिषेक माधुरी को चुप करता हैं और उसको अपनी सारी बात बता देता हैं की उसके पिता ने उसको तुमसे मिलते देख लिया था और हमें एक दूसरे को भूल जाने को कहा हैं। इतने में माधुरी अभिषेक से कहती हैं की तुम्हारा प्यार क्या इतना ही सच्चा हैं की एक मुसीबत आने पे तुम हमारे प्यार को भूल जाओगे अगर मुसीबत आयी हैं तो हम दोनों डट कर सामना करेंगे में आज ही अपने पापा से तुम्हारी बात करुँगी की हम एक दूसरे को कितना चाहते हैं इतने में अभिषेक माधुरी से कहता हैं की नहीं तुम ऐसा कुछ नहीं करोगी में नहीं चाहता की तुम अपने परिवार के सामने शर्मिंदा हो और उनका दिल दुखे इसलिए बेहतर यही होगा की अब हम एक दूसरे को भूल जाये।

इतना कहकर अभिषेक वहा से चला जाता हैं पर वो मन ही मन बहुत रो भी रहा होता हैं की उसका इतने सालों का प्यार अब ख़त्म हो जायेगा। माधुरी काफी उदास होकर घर पहुँचती हैं पर वह अभिषेक की बात को ना मानते हुए अपने पिता से अपने रिश्ते का खुलासा कर देती हैं वह बताती हैं की वो अभिषेक से कितना प्यार करती है। यह सुनकर माधुरी के पिता उस पर काफी गुस्सा होते हैं इस बात पर नहीं की उसने प्यार क्या बल्कि इस बात पर की उसने एक किसान के बेटे से प्यार किया। उसके पिता कहते हैं चाहे तुम जेते जी मर जाओ पर में तुम्हारी शादी उससे कभी नहीं करवाऊंगा तुम्हे हमारी हैस्यत देख कर प्यार करना चाहिए था हमारी भी इज्जत हैं अगर तुम्हारी शादी उस लड़के से होगी तो हमारी पूरे गांव में बेज्जती हो जाएगी और यह में जीते जी कभी नहीं होने दूंगा माधुरी के लाख मनाने के बावजूद भी उसके पिता उसकी बात नहीं मानते हैं और उसको एक कमरे में बंद कर देते हैं।

कुछ दिन बीत जाने के बाद माधुरी के पिता उसकी शादी अपने एक दोस्त के बेटे के साथ पक्की कर देते हैं, माधुरी इस रिश्ते के लिए बिलकुल भी तैयार नहीं थी पर अपनी नाक कटने के डर से उसके पिता को यह फैसला मजबूरन लेना पड़ा। माधुरी की शादी की खबर सुनकर अभिषेक को एक झटका लग गया था और वह काफी दुखी हो गया था। माधुरी की शादी को होने में सिर्फ 2 दिन रह गए थे माधुरी पूरी तरह से टूट चुकी थी पर माधुरी को ये ज़रूर पता था की अभिषेक के दिल में अभी भी उसके लिए प्यार जिन्दा हैं। उसके अगले दिन ही माधुरी ने ठाना की अगर में जियेगी तो अभिषेक के साथ ही और मारेगी भी तो अभिषेक के साथ ही और इसी इरादे के साथ वह अपने कमरे की खिड़की से भाग गयी और सीधा अभिषेक के पास जा पहुंची।

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जब वह अभिषेक के पास पहुंची तो अभिषेक उसे देख कर बहुत खुश हो गया और वह एक दूसरे को देखते ही देखते गले लग गए। फिर माधुरी ने उसे बताया की वो सब कुछ छोड़कर उसके पास आ गयी हैं चाहे कैसे भी हालत हो वो उसी के साथ जीना और मरना चाहती हैं उसकी ये बातें सुनकर अभिषेक भी काफी इमोशनल हो गया और उसने भी उसको जीने से लेकर मरने तक का साथ निभाने का वचन दिया।

इतने में माधुरी के घर वाले देखते हैं की माधुरी घर पर नहीं हैं वह घर से भाग गयी हैं इतने में उसके पिता का शक सीधे अभिषेक पर जाता हैं की वो उसी के घर भागी होगी इसलिए अपना वक्त जाया ना करते हुए उसके पिता अपने आदमियों के साथ सीधा अभिषेक के घर की तरफ निकलते हैं। जितने में अभिषेक और माधुरी वहा से कहि दूर जाने की सोच रहे होते हैं इतने में माधुरी के पिता वहा पहुंच जाते हैं और उसको वहा ही ले ही जा रहे होते हैं की इतने में अभिषेक माधुरी के पिता से प्राथना करता हैं की हमें अलग मत करिये हम एक दूसरे के बिना नहीं रह सकते पर माधुरी के पिता उसकी एक बात भी नहीं सुनते और उसकी गोली मार कर हत्या कर देते हैं यह सोच कर की अब ये लड़का ही नहीं रहेगा तो माधुरी भी अब कहि नहीं जाएगी और उनकी गांव में बेज्जती होने से भी बच जाएगी।

अभिषेक अब मर चूका था और अगले दिन माधुरी की शादी होनी थी पर माधुरी इस शादी के लिए बिलकुल तैयार नहीं थी बल्कि वह तो अब अभिषेक के गम में डूब में चुकी थी और उसने यह वचन लिया था अगर जियेगी तो अभिषेक के लिए ही और मरेगी तो अभिषेक के लिए ही। अब शादी होने में सिर्फ कुछ ही समय रह गए थे पर माधुरी अभी तक तैयार नहीं हुई थी यही गम में सोचते-सोचते अचानक उसकी नजर चूहे मारने वाली दवाई पर पड़ती हैं और बिना सोचे वह दवाई उस Rat Poision को उठा लेती हैं और उसे खा लेती हैं यह सोचकर की अब जीते जी तो वह उसकी ना हो सकी पर अब मरकर तो उसकी हो सकती हैं, और उसके कुछ पल बाद ही माधुरी की मौत हो जाती हैं ।

दोस्तों आशा हैं आपको यह स्टोरी बहुत अच्छी लगी होगी अगर पसंद आयी हैं तो इसे व्हाट्सप्प और फेसबुक पर जरूर शेयर करि ताकि कोई और प्रेमी या प्रेमिका भी इस स्टोरी को पद सके।

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